गीत 147
हमेशा की ज़िंदगी का वादा
1. वादा किया हमसे याह ने,
धरती ना होगी बरबाद।
पूरी होंगी सब मुरादें,
नेक रहेंगे आबाद।
(कोरस)
ज़िंदगी सदा की,
हम सबको मिलेगी।
बात सच होगी याह की,
है हमें यकीन।
2. छूटेंगे जब हम सब पाप से,
स्वस्थ होगा सबका तन-मन।
याह की निगरानी में फिर से,
धरती बने गुलशन।
(कोरस)
ज़िंदगी सदा की,
हम सबको मिलेगी।
बात सच होगी याह की,
है हमें यकीन।
3. यादों में अब जो बसे हैं,
सूखे फूलों की तरह।
खिल उठेंगे सारे फिर से,
साँस जब फूँकेगा याह।
(कोरस)
ज़िंदगी सदा की,
हम सबको मिलेगी।
बात सच होगी याह की,
है हमें यकीन।
(यशा. 25:8; लूका 23:43; यूह. 11:25; प्रका. 21:4 भी देखें।)